दुराचार

दलित जाति के लोगो द्वारा नाबालिग लड़की भगाने पर चटवाया गया था थूक, NDTV ने आरोपी छुपाते हुए बता डाला दलित उत्पीड़न

गया(बिहार): एनडीटीवी ने हमेशा की तरह एकतरफा रिपोर्टिंग जारी रखते हुए एक मामले को जातिवादी रंग देने की कोशिश की है। मामला बिहार के गया जिले का है जहां दलित समुदाय के एक युवक को ग्रामीणों ने थूक चाटने के लिए विवश कर दिया था। जिसे NDTV ने बड़ी चतुराई से बिना आरोपियों के नाम बताये दलित उत्पीड़न का मामला बना दिया।

घटना गया जिले के ब्लॉक वजीरगंज में स्थित ग्राम पंचायत घुरियावा के मजरा कोदौना में 4 अप्रैल को घटित हुई थी। जिसका एक वीडियो भी वायरल हो रहा है। वीडियो में एक लड़के को कुछ लोगो द्वारा थूक कर चटवाया जा रहा है। कुछ लोगो ने यह वीडियो जिले के एसपी के पास भी भेज दिया था। मामले पर तुरंत संज्ञान लेते हुए वीडियो में दिख रहे 7 आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।

वहीं घटना पर ग्रामीणों ने हमें बताया कि वीडियो में दिख रहा युवक 2 अप्रैल को अपनी ही जाति की लड़की को लेकर भाग गया था। जिसे लड़की के परिजनों ने 4 अप्रैल को पकड़कर पंचायत लगाई थी। पंचायत पूर्व मुखिया की मौजूदगी में लगी थी जिसमे दोनों पक्ष के लोग मौजूद थे। पंचायत में फैसले के तौर पर लड़की पक्ष के लोगो द्वारा युवक को अपना थूक चाटने को विवश किया गया। समाज के लोगो ने कहा कि अपना थूक चाटने से क्या होगा दूसरे का थूक चटाओ। जिसपर दो तीन लोगो ने अपना थूक युवक को चाटने पर विवश किया।
वहीं वीडियो को आधार मानकर एनडीटीवी ने रिर्पोटिंग कर इसे दलित उत्पीड़न का मामला बताया दिया। साथ ही सही कारणों को अपनी रिपोर्ट में छुपा दिया।

क्या था मामला
जब हमने पूरी पड़ताल करने की कोशिश करी तो पता चला कि दलित युवक मनोज कुमार(16वर्ष) पुत्र बबन माझी साथ में भट्ठे पर काम करने वाली एक नाबालिग लड़की (14 वर्ष) को भगा ले गया था। जिसके बाद लड़की के पिता विजय मांझी की सह पर पूर्व मुखिया अभय सिंह ने पंचायत लगाकर लड़के को थूककर चटवाया था जिसकी पुष्टि पुलिस द्वारा भी की गई है। युवक को दोबारा ऐसी गलती नही दोहराने की चेतावानी दी गई थी। यही वीडियो अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

पुलिस के बयान भी हमारी पड़ताल से अलग नही
पुलिस ने भी अपना बयान जारी करते हुए पूरे मामले को छेड़खानी और लड़की को भगा ले जाने से जुड़ा बताया है। पुलिस ने इसे जाति विशेष से जोड़कर दिखाने पर सख्त कार्यवाई करने की चेतावनी जारी की है। स्थानीय पुलिस ने इसे जाति से जुड़ा न होना पाया है। अभी तक कुल 7 लोगो की गिरफ़्तारी की गई है जिसमे से 6 आरोपी दलित जाति से आते है।


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