खुलासा: भीम आर्मी के सदस्यों ने हाईकोर्ट की वकील प्रीति शुक्ला का किया अपहरण, पार्टी दफ्तर में बना था प्लान
लखनऊ: सुशांत गोल्फ सिटी थानाक्षेत्र के सेलेब्रिटी ग्रीन निवासी व हाईकोर्ट के वकील अनुराग शुक्ला की पत्नी के अपहरण मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। पुलिस और एसटीएफ के खुलासे में अपहरणकर्ताओं का भीम आर्मी के साथ कनेक्शन सामने आया है। पुलिस ने मुख्य आरोपी संतोष उर्फ सूर्या को गिरफ्तार किया है। संतोष ने अपने सात-आठ और साथियों के साथ अपहरण का प्लान बनाया था।
पुलिस की जांच में पता चला है कि सभी अपराधी भीम आर्मी से जुड़े हैं। पुलिस और एसटीएफ सूत्रों का कहना है कि भीम आर्मी के दफ्तर में ही अपहरण और फिरौती की साजिश रची गई थी। पूछताछ में खुद संतोष ने भी इस बात को कबूल किया है। पुलिस अब अन्य आरोपियों की तलाश कर गिरफ़्तारी के प्रयास कर रही है।
1 करोड़ की मांगी थी फिरौती
सुशांत गोल्फ सिटी में रहने वाले हाईकोर्ट के वकील अनुराग शुक्ला की पत्नी प्रीति शुक्ला को रविवार शाम अपहरण हो गया था। रविवार को पत्नी को उस वक्त अगवा किया गया था, जब वह शाम को टहलने निकली थी। बदमाशों ने वकील से एक करोड़ रुपये फिरौती मांगी थी। मामले की जानकारी पुलिस को मिली तो हड़कंप मच गया।अनुराग ने एफआईआर कराई। जिसके बाद मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने तलाश शुरू की। जांच में पुलिस के साथ एसटीएफ की टीम भी लग गई थी। मंगलवार देर रात को संयुक्त आपरेशन में दोनों टीमों ने मोहनलालगंज के हरिकंशगढ़ी इलाके से आरोपी को दबोच लिया। वहीं अपहृत महिला को मुक्त कराया गया। जिसके बाद पुलिस ने आरोपी संतोष को गिरफ्तार कर प्रीति शुक्ला को सकुशल बरामद कर लिया। इस अपहरण कांड में 10 आरोपी शामिल हैं।
अनुराग शुक्ला की पत्नी भी है हाईकोर्ट में वकील
अनुराग शुक्लाकी की पत्नी प्रीति शुक्ला भी हाईकोर्ट में वकील हैं। अनुराग पूर्व कैबिनेट मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति और सैकड़ों करोड़ रुपए ठगने वाली कंपनी शाइन सिटी इंफ्रा प्राइवेट लिमिटेड के मालिक राशिद नसीम के वकील रहे हैं। रविवार शाम प्रीति शुक्ला को कार सवार बदमाशों ने उनका अपहरण की लिया था। बदमाशों ने प्रीति के मोबाइल फोन से ही उनके पति को फोन कर एक करोड़ रुपए फिरौती मांगी। जहाँ अनुराग ने इतनी बड़ी रकम दे पाने में असमर्थता जताई थी। जिसके बाद आरोपियों ने फिरौती की रकम कम कर दी थी।
एसटीएफ टीम ने शुरू की त्वरित कार्रवाई
मामले की जानकारी मिलते ही एसटीएफ की टीम जांच में जुट गयी। एसटीएफ के एडीजी अमिताभ यश ने बताया कि प्रीति शुक्ला की तलाश के लिए तीन टीमें गठित की गई थी। इस बीच बदमाशों ने प्रीति का वीडियो बनाकर उसके पति को भेजा। जिस लोकेशन से प्रीति का अपहरण किया गया था, वहां के सीसीटीवी कैमरे की फुटेज निकलवाई गई। इलाके का सर्च अभियान के दौरान ही पीजीआई के हरकंसगढ़ी इलाके में स्थित विद्या हॉस्पिटल एवं ट्रामा सेंटर के पीछे रिहायशी इलाके में एक मकान में कुछ संदिग्ध गतिविधियां नजर नजर आई। एसटीएफ की टीम ने इलाके में गोपनीय रूप से पड़ताल की तो एक मकान के बाहर संदिग्ध लोग आते-जाते दिखे। मकान की छानबीन करने पर खिड़की से एक महिला पलंग पर पड़ी दिखाई दी जिसके हाथ-पैर बंधे हुए थे। कमरे में एक आदमी भी दिख रहा था। एसटीएफ की टीम ने मकान की घेराबंदी कर महिला को सुरक्षित अपने कब्जे में लिया। पूछताछ में पता चला कि महिला प्रीति शुक्ला है जिसका अपहरण किया गया था। कमरे से पकड़ा गया बदमाश संतोष चौबे उर्फ सूर्या है।
संतोष ने बताई भीम आर्मी के संलिप्तता की बात
संतोष ने बताया कि अपहरण में 10 लोग शामिल थे। संतोष उर्फ़ सूर्या मूल रूप से गाजीपुर के कोतवाली इलाके का रहने वाला है। जोकि लखनऊ के पीजीआई में किराए पर मकान लेकर रहता था। पूछताछ में उसने बताया कि उसके साथी भीम आर्मी से जुड़े जितेंद्र, कल्लू, रोहित, बबलू समेत अन्य लोगों ने मिलकर अपहरण की वारदात को अंजाम दिया था। उसने ये भी बताया कि वे लोग कई दिनों से प्रीती की रेकी कर रहे थे। जिसके बाद रविवार को घटना का अंजाम दिया था।
प्रीति शुक्ला अपहरण केस के खुलासे में कमिश्नरेट पुलिस के सुशांत गोल्फ सिटी के प्रभारी निरीक्षक विजयेंद्र सिंह, पीजीआई इंस्पेक्टर आनंद प्रकाश शुक्ला और मोहनलालगंज के दीनानाथ मिश्रा ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। अन्य आरोपियों की तलाश के लिए टीम द्वारा छापेमारी की जा रही है।