रायबरेली: हाड़ कांपती ढंड में नेत्रहीन ओमप्रकाश सिंह छप्पर में काट रहे जिंदगी, गुजारा भी दूसरों पर निर्भर
रायबरेली: उत्तर प्रदेश के रायबरेली जनपद के लालगंज तहसील में सरेनी विकास खंड के ग्राम पुरे चित्ता का पुरवा मजरे मथुरपुर सरेनी निवासी नेत्रहीन ओम प्रकाश सिंह वर्षों से सरकारी जिम्मेदारों के आश्वासन के बीच इस इंतजार में हैं कि कब उनको सरकारी छत नसीब होगी।
बार-बार वह इंतजार करते हैं लेकिन कॉलोनी का आवंटन अभी तक नही हो सका। क्योंकि वह नेत्रहीन है, अपना परिवार था लेकिन आँख खराब हो जानें पर पत्नी नें सम्बन्ध समाप्त कर लिया है, तो वह अपने गुमशुदा हो चुके भाई के परिवार के साथ रहते हैं और उनके ही सहारे उनका गुजारा चलता है।
ओम प्रकाश के पडो़स का इण्डिया मार्का हैण्ड पम्प जो घर से 100 मीटर के लगभग दूर है लगभग एक दशक से रिबोर की बाट देख रहा है, जबकि ओम प्रकाश नें बताया कि ग्राम प्रधान रिबोर का अधिकार न होना बता रहें हैं, जबकि दोनों भाईयों का संयुक्त 1.5 बीघे जमीन की कास्तकारी में परिवार कैसे चलता है, जबकि आँख की रोशनी न होनें के कारण खेत की फसल अवारा जानवर समाप्त कर देते हैं।
हमनें जानना चाहा कि राशन कार्ड की दशा क्या है तो बहुत विचलित होते हुए जवाब मिला सफेद कार्ड है। जब उनसे बात की गई तो उन्होंने बताया कि उन्हें आवास की सख्त जरूरत है। हाड़ कपाती ठंड में अपने भाई के बच्चों और परिवार के साथ वह बड़ी मुश्किल से गुजर बसर करते हैं गांव के एक कोने में वह रहते हैं जहां पर सुरक्षा का भी डर रहता है।
कैसे भी करके उन्होंने छप्पर रखा है, जीवन की ऐसी भी परेशानियां हैं जो समाज में मौजूद हैं लेकिन जिम्मेदारों को यह दिखाई नहीं दे रहा है। जबकि योगी आदित्यनाथ सरकार पूरी तरह से संकल्पित है कि जरूरतमंदों को तुरंत आवास मिले।