अनाथ बेटी ने कभी बांधी थी राखी, दरोगा हनुमंत तिवारी ने शादी के खर्चों का जिम्मा उठा निभाया राखी का फर्ज
लखीमपुर खीरी: ह्रदय को छू लेने वाला और मानवता की मिशाल पेश करने का मामला उत्तरप्रदेश के लखीमपुर खीरी का हैं।
जिले की सिकंदराबाद चौकी पर तैनाती के दौरान दारोगा हनुमंत लाल तिवारी ने एक अनाथ बेटी से राखी बंधवाई थी।एक साल बाद उसी बहन की शादी में भाई की भूमिका निभाने पहुंचे दारोगा हनुमंत लाल तिवारी और शादी के तमाम जिम्मेदारियों को अपने कंधों पर ले लिया।
क्या है मामला
दरअसल मामला बीते समय का हैं। सिकंदराबाद निवासी विचल त्रिवेदी की मौत एक साल पहले बिजली का करंट लगने से हो गई थी। परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण और छोटे बच्चों के साथ घर की देखभाल करने वाला भी कोई नहीं था। उस समय सिकंदराबाद चौकी इंचार्ज हनुमंत लाल तिवारी ने विचल के परिवार को सहारा दिया और बड़ी बेटी अनीता से राखी भी बंधवाई थी।
कुछ समय पश्चात दारोगा हनुमंत लाल तिवारी का तबादला किसी अन्य क्षेत्र में हो गया था। इसी बीच अनीता की शादी पक्की हो गई और शादी का कार्यक्रम 24 जून को तय हुआ।
शादी की जानकारी लगते ही दो दिन पहले दरोगा हनुमंत लाल तिवारी ने घर पहुंचकर भाई का फर्ज निभाते हुए फर्नीचर सहित उपहार व टेंट आदि के खर्च की जिम्मेदारी अपने ऊपर ले लेते हैं। और शादी वाले दिन भी दारोगा हनुमंत लाल तिवारी घर के प्रति भाई की जिम्मेदारी को समझते हुए बारात व मेहमानों की आवभगत करने में लगे रहें।
वहीं अनीता की माँ कमलेश त्रिवेदी का कहना है कि दरोगा हनुमंत लाल तिवारी ने एक बेटे की तरह अपना फर्ज निभाया है।
दारोगा की दरियादिली
पूर्व में सिकंदराबाद पुलिस चौकी पर तैनात रहे दारोगा हनुमत लाल तिवारी की दरियादिली के कई किस्से हैं। जिनके चलते अक्सर लोगों में उनकी प्रशंसा होती रहती है।
तैनाती के दौरान ही बीएचयू प्रवेश परीक्षा में टाॅपर रहे सूरज नाम के विधार्थी को दारोगा ने कुर्सी मेज सहित कई उपहार देकर हौसला बढ़ाया था। होली के त्योहार पर दारोगा द्वारा चौकी क्षेत्र के गांवों में पचास जरूरतमंद परिवारों को कपड़े व मिठाइया भेज कर उनमें त्योहार की खुशिया बांटी गई थी।