दलितों ने BJP कार्यकर्ता को वोट करने से रोका, SC-ST एक्ट दर्ज होने पर की आत्महत्या
इटावा: जिले के सहसों थाना क्षेत्र के गांव कोला में एक 50 वर्षीय व्यक्ति ने एससी एसटी एक्ट का मामला दर्ज होने के बाद फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। मृतक का शव गाँव के ही एक नीम के पेड़ से लटकता हुआ मिला है।
मामला चुनाव से जुड़ा होने के कारण तूल पकड़ रहा है। दरअसल सूबे में चल रहे चुनावों के दौरान गाँव के राम प्रताप परिहार परिवार के साथ वोट डालने गए थे। जिन्हे बसपा के बूथ एजेंट जनवेद दोहरे ने वोट डालने से रोक दिया। जिसपर सभी लोगो ने बताया कि राम प्रताप गाँव के ही निवासी है जिसके बावजूद उन्हें बसपा समर्थको ने वोट नहीं डालने दिया। विवाद बढ़ने के बाद जनवेद ने राम प्रताप के पुत्र जितेन्द्र परिहार के खिलाफ एससी एसटी एक्ट का मामला दर्ज करा दिया। जिससे आहत होकर राम प्रताप ने फांसी लगाकर अपनी जान दे दी।
जेल भेजने व दिल्ली तक घसीटने की दी थी धमकी
पहले वोट देने से रोके जाने के बाद दर्ज हुए एससी एसटी एक्ट के मामले में राम प्रताप ने बसपा बूथ एजेंट से कई बार मुकदमा वापस लेने की विनती करी थी। बावजूद इसके जनवेद ने उन्हें जेल भेजने व मामला हाई लाइट करने की धमकी दी थी। जिससे आहात होकर राम प्रताप ने अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली।
मृतक का भाई है भाजपा का बूथ अध्यक्ष
मृतक राम प्रताप खुद भाजपा कार्यकर्ता था साथ ही उनका भाई मुकेश सिंह BJP का बूथ एजेंट भी है। परिजनों ने बताया कि राम प्रताप मुकदमा दर्ज होने के बाद से परेशान चल रहे थे। कही से कोई मदद न मिलते देख उन्होंने आत्महत्या का रास्ता चुना।
पुलिस ने दिया कार्यवाई का भरोसा
प्रकरण पर थानाध्यक्ष सहसों तेज सिंह ने बताया कि भाजपा के बूथ अध्यक्ष के भाई की आत्महत्या की सुचना प्राप्त हुई है। जाँच कर उचित कार्यवाई का भरोसा उन्होंने परिजनों को दिया है। वहीं बसपा के बूथ एजेंट ने अभी मामले पर कुछ भी बोलने से मना कर दिया है।
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