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असम: CM हिमंत की अपील का असर, उग्रवादी गुट NLFB के मुखिया समेत 23 कैडरों ने किया सरेंडर

बोडोलैंड: असम में उग्रवादी संगठन एनएलएफबी के शीर्ष कैडरों ने मुख्यधारा में घर वापसी कर ली है जिसको लेकर मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि इस कदम के साथ बीटीआर में और शांति आएगी।

मुख्यमंत्री ने उग्रवादियों के आत्मसमर्पण की सजीव तस्वीरें साझा करते हुए गृह मंत्री अमित शाह को उनके निरंतर मार्गदर्शन और समर्थन के लिए धन्यवाद दिया है।

असम-अरुणाचल सीमा पर शांति के लिए मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा की अपील के जवाब में, प्रमुख एम बाथा, अध्यक्ष आईबी बिथवंगवारा, वीसी बोको बसुमतारी के नेतृत्व में विद्रोही समूह एनएलएफबी के 23 कैडर उग्रवाद का रास्ता छोड़कर आज घर वापस आ गए हैं।

बाथा, बोको और उनके कार्यकर्ताओं के हथियारों के साथ लौटने के साथ, बोडोलैंड टेरीरोरियल क्षेत्र बीटीआर को आतंक और हथियारों के शासन से मुक्त करने का सरकार का कार्य पूरा हो गया है।

उग्रवादियों के आत्मसमर्पण के दौरान असम सरकार के मंत्री पीयूष हजारिका, BTR CEM प्रमोद बोड़ो, विधायक गोबिंदा बसुमतारी, असम पुलिस के विशेष महानिदेशक जीपी सिंह, अतिरिक्त पुलिस महानिरीक्षक पार्थ सारथी महंत और अन्य की उपस्थिति में लोगों ने उनका समाज में वापसी का स्वागत किया।

वहीं इस कदम पर असम के पूर्व मुख्यमंत्री सर्वानन्द सोनोवाल ने भी खुशी जताई है। उन्होंने कहा प्रमुख एम बाथा सहित एनएलएफबी कैडरों का आत्मसमर्पण एक स्वागत योग्य संकेत है। यह पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में असम और उत्तर पूर्व में शांति और विकास के नए युग में लोगों के भरोसे को दर्शाता है।

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