प्रेस कांफेरेंस में मोदी जीरो, मन की बात में हीरो
विपक्ष का आरोप "मोदी प्रेस कांफेरेंस करने में डरते हैं ताकि देश के सवालों का जबाब न देना पड़े" , मन की बात में पीएम लगा चुके हैं फिफ्टी
नईदिल्ली : राजनीति में भाषण में अपनी एक अलग पहचान रखने वाले देश के मुखिया श्री नरेंद्र मोदी को लगातार विपक्षी इस बात का जबाब जानना चाहते हैं कि उनके कार्यकाल के 4.5 साल से ज्यादा हो चुके हैं लेकिन उन्होंने एक बार भी प्रेस कांफेरेंस नहीं की | लेकिन विपक्षी दलों की इस बात को हम एक आंकड़े से तौलते हैं |
मनमोहन सिंह के एकाउंट में 2 प्रेस कांफेरेंस, मोदी का नहीं खुला खाता :
भले ही विपक्षी दल आरोप लगा रहे हों कि पीएम राफेल जैसे मुद्दों पर देश के सवालों से बचने की कोशिश कर रहे हैं | लेकिन अगर पिछले 5 सालों का लेखा जोखा को खगाले तो हमें पता चला कि मोदी नें अभी तक के कार्यकाल में एक बार भी प्रेस कांफ्रेंस नहीं की है |
जबकि अपने चर्चित कार्यक्रम मन की बात में वो देश को 50 बार से ज्यादा संबोधित कर चुके हैं | वहीं पूर्व पीएम मनमोहन सिंह इस मामले में मोदी से 2 कदम आगे हैं |
मनमोहन का बना जनता से इनडायरेक्ट तो मोदी का डायरेक्ट कनेक्शन :
मुख्य विपक्षी दल कांगेस भले ही मोदी को घेरने की कोशिश कर रहा है लेकिन एक दूसरा आकंडा ये भी बताता है कि कांगेस के नेतृत्व वाली यूपीए के पीएम मनमोहन सिंह देश की जनता से सीधा कनेक्शन नहीं बना सके | जबकि मोदी नें इसके लिए देश के गाँव व कस्बों में रेडियो व दूरदर्शन के जरिए लोगों से सीधा संपर्क साधा |
हालांकि प्रेस कांफेरेंस के अलावा मोदी, संपादकों के सम्मेलन, विदेश यात्राओं के मामले पर एक बार भी कैमरे के सामने नहीं आ सके | जिसके लिए विपक्षी दल लगातार चुनौती दे रहे हैं, और तंज भी कस रहे हैं |