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ज़ीरो-ज़ीरो नंबर वालों का B.Ed में एडमिशन, शिक्षक बनके देंगे अपनी शिक्षा !

रांची (झारखंड) : B.Ed प्रवेश परीक्षा में जीरो नम्बर पाने वाले भी टीचर बन छात्रों को अपनी शिक्षा दे सकेंगे ।

शिक्षा व्यवस्था का मखौल उड़ाने वाली एक रिपोर्ट झारखंड राज्य से आई है । शिक्षा किसी भी देश की प्रगति की रीढ़ की हड्डी होती है और वो ख़राब हुई तो देश के विकास में व्यापक असर पड़ता है । फलाना दिखाना की टीम नें झारखंड की इस रिपोर्ट पे गहन अध्ययन किया और हमें इसमें कई अहम जानकारियां मिली जिसे भविष्य में हरहाल में सुधारना चाहिए !
दरअसल हर राज्य में शिक्षा सत्र शुरू होते ही B. Ed की परीक्षाएं होती हैं जिससे द्वारा 2 वर्षीय कोर्स पूरा करके अभ्यर्थी शिक्षक बनते हैं ।
इसी कड़ी में झारखंड में शिक्षा सत्र 2019-20 के लिए सभी 136 बीएड कॉलेजों जिसमें शासकीय (Govt)/शासकीय (Govt. Aided) सहायता प्राप्त/गैर सहायता प्राप्त (Unaided)/स्व वित्त पोषित (Self Financed)/नामित निजी कॉलेज (Recognized Private College) भी शामिल हैं उनमें प्रवेश के लिए 6 से 9 जून, 2019 के बीच परीक्षा ली गई थी ।
यह परीक्षा CBT (Computer Based Test) मॉड में झारखंड की राजधानी रांची के विभिन्न परीक्षा केंद्रों में आयोजित की गई थी । आपको बता दें कि ये परीक्षा झारखंड संयुक्त प्रवेश प्रतियोगिता परीक्षा पर्षद (JCECEB) संस्था द्वारा आयोजित की गई थी ।
JCECEB
जिसके परिणाम 25 जून 2019 को घोषित किए गए थे । इसके बाद इन कॉलेजों की लगभग 13,000 सीटों के लिए जुलाई के पहले हफ़्ते में मेरिट लिस्ट जारी की गई जिसमें काफ़ी गड़बड़ी पाई गई । छात्रों नें शिकायत में बताया था कि जिनकी रैंक कम थी उनके नाम आ गए पर जिनके अच्छी रैंक थी उनके नाम ही ग़ायब मिले ।
उसके बाद JCECIB नें अपनी आधिकारिक वेबसाइट से मेरिट लिस्ट हटा लिया था उसके बाद फ़िर से एक नई मेरिट जुलाई के दूसरे हफ़्ते में जारी की गई । अब उस मेरिट लिस्ट में पाया गया कि ऐसे लोगों के नाम भी आए जिनके 100 में से खाता तक नहीं खुला और कुछ के 0 से 1 परसेंटाइल के बीच अंक थे ।
अंकों की इस रिपोर्ट को फलाना दिखाना नें  देश के बड़े हिंदी अखबार दैनिक भास्कर के आर्काइव से निकाला । ये रिपोर्ट भास्कर नें रांची संस्करण में 11 जुलाई, 2019 को प्रकाशित की थी ।
Jharkhand B.Ed Admission Dated 11 July, 2019, Source DB.
अब सहसा ही प्रश्न उठता है कि जब जीरो व 1 नम्बर आए तो उन्हें बीएड कॉलेजों में एडमिशन क्यों दिया जाएगा ? इसका जवाब यही होगा कि कटऑफ ही तय नहीं किए गए थे ताकि छंटनी की जाती कि इतने नम्बर से कम आने वालों को एडमिशन नहीं मिल पाए । हालांकि इसका जवाब भी यह दे देते हैं कि सीटें तो भरनी ही हैं वरना खाली पड़ी रह जाएंगी । कभी कभी ऐसा होता है कि कुछ आरक्षित सीटें खाली रह जाती है फ़िर पहली, दूसरी काउंसलिंग करके बढ़ाया जाता है जब तक सीटें न भर जाएं ।
उधर राज्य के बीएड कॉलेजों में दाखिले के लिए फिजिकल काउंसलिंग की नई तारीख तय कर दी गई है थी काउंसलिंग 15 से 18 जुलाई तक रांची यूनिवर्सिटी के आरा भट्ट सभागार में हुई लेकिन इस बार भी बड़ी चूक हुई है । कट ऑफ मार्क ही तय नहीं की गई है यानी इसमें जीरो अंक पाने वाले भी B.Ed कर सकेंगे ।
Jharkhand B.Ed 2019-20
झारखंड संयुक्त प्रवेश प्रतियोगिता परीक्षा पर्षद जेसीईसीईबी ने बीएड एंट्रेंस में शामिल स्टूडेंट की लिस्ट रांची यूनिवर्सिटी को सौंप दी थी इसमें 18633 नाम है ।
इसमें जीरो (0) नम्बर पाने वाले 13 अभ्यर्थी, ज़ीरो या एक से कम परसेंटाइल वाले 47 अभ्यर्थियों के नाम हैं जिन्होंने काउंसलिंग के लिए आवेदन जमा किया था इन भर्तियों द्वारा काउंसलिंग फीस ₹600 भी जमा किए गए हैं । यानी लगभग जीरो लाने वाले 60 स्टूडेंट है जो बीएड जो पढ़कर भविष्य में शिक्षक बनेंगे और अपनी शिक्षा छात्रों को देंगे ।
आपको बता दें कि झारखंड बीएड प्रवेश के लिए पहली काउंसलिंग 16 जुलाई से की गई थी बाद में खाली सीटों के लिए दूसरी काउंसलिंग 22 अगस्त से 24 अगस्त 2019 के बीच की गई थी ।
इसके अलावा एक मजाक इसमें एक और शामिल था जिसमें स्कूलों में एमबीए बीबीए जैसे कोर्स थे ही नहीं इसके बाद भी इनके लिए एग्जाम में शामिल हुए अभ्यर्थियों नें इन विषयों के काउंसलिंग में शामिल होने के लिए आवेदन दिया था । जिसे बाद में एडमिशन लेने की जिम्मेदारी लेने वाली रांची विश्वविद्यालय विभाग नें कहा कि इनका एडमिशन नहीं होगा और काउंसलिंग के लिए जमा कराई गई ₹600 फ़ीस अभ्यर्थियों को वापस कर दी जाएगी ।

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