भारत माता की जय बोलने पर मिशनरी स्कूल ने बच्चे को दी सजा, विरोध प्रदर्शन के बाद दो शिक्षकों पर FIR दर्ज
गुना- मध्यप्रदेश के गुना में एक मिशनरी स्कूल का शर्मनाक कृत्य सामने आया है, जहां स्कूल में कक्षा 7 वीं के एक छात्र द्वारा भारत माता की जय बोलने पर उसे जमकर फटकार लगाई और सजा के तौर पर उसे अगले चार पीरियड तक जमीन पर बैठाया गया।
इतना ही नहीं जब इस घटना की जानकारी उसके परिजनों को हुई तो वह हिन्दू संगठनों के साथ मिलकर स्कूल पहुंच गए, जिसके बाद हंगामे को बढ़ता देख पुलिस ने स्कूल के दो शिक्षक जस्टिन और जास्मिना खातुन के खिलाफ थाना कोतवाली में मुकदमा दर्ज कर लिया हैं।
स्कूल प्रबंधन ने मांगी लिखित माफ़ी
वहीं मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक छात्र के पिता रोहित जैन का कहना है कि उनका बेटा क्राइस्ट स्कूल में 7 वीं कक्षा में पढ़ता है और बुधवार को स्कूल में प्रार्थना सभा के बाद उसने भारत माता की जय का नारा लगा दिया, जिसके बाद वहां मौजूद टीचर जस्टिन और जास्मिना खातुन भड़क गए और सजा के तौर पर उसे चार पीरियड तक जमीन पर बैठाये रखा।
उन्होंने बताया कि उनके बेटे पर इस बात का इतना असर पड़ा कि उसने घर पहुंच कर खुद को कमरे में बंद करने लिया और जब उससे पूछा गया तो उसने सारी घटना के बारे में बताया, जिसके बाद गुरूवार दोपहर परिजन और अन्य हिन्दू संगठन स्कूल पहुंच गए और स्कूल प्रबंधन के खिलाफ नारेबाज़ी करने लगे।
हिन्दू संगठनों और परिजनों के विरोध प्रदर्शन को देखते हुए स्कूल प्रबंधन ने लिखित माफी मांगते हुए कहा कि जो घटना घटित हुई है उसकी भविष्य में पुनरावृत्ति नहीं होगी और स्कूल में प्रार्थना सभा में राष्ट्रगान के बाद ‘भारत माता की जय’ का उद्घोष भी कराया जाएगा।
प्रबंधन द्वारा लिखित माफी में पत्र आगे कहा गया कि भारत माता की जय बोलने वालों के खिलाफ भविष्य में किसी भी शिक्षक द्वारा उन्हें प्रताड़ित नहीं किया जाएगा। इतना ही नहीं प्रबंधन द्वारा आश्वासन भी दिया गया कि जिस शिक्षक द्वारा छात्र को दंडित किया गया है, उसके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
स्कूल पर लगा सरकारी जमीन पर कब्जा करने का आरोप
वहीं स्कूल प्रबंधन के खिलाफ हो रहे विरोध प्रदर्शन में भाजपा के पूर्व विधायक नरेंद्र सलूजा भी पहुंच गए और कुछ दस्तावेज दिखाते हुए स्कूल पर सरकारी जमीन पर कब्जा करने का आरोप लगाया, जिसके बाद प्रशासन द्वारा जमीन की नपती करने पर एक बीघा जमीन पर स्कूल का कब्जा पाया गया हैं।