राजस्थान(जयपुर) : 26 साल के कनिष्क कटारिया ने हाल ही में आये यूपीएससी परीक्षा में पहला पद हासिल किया है। आईआईटी से ग्रेजुएट कनिष्क लगभग 3 साल नौकरी बतौर इंजीनियर भी कर चुके है।
पहले डेढ़ साल साउथ कोरिया में नौकरी करने के बाद कनिष्क बैंगलोर में नौकरी करने आ गए। बैंगलोर में नौकरी करते हुए उन्होंने देखा की कैसे कोरिया और भारत में जमीं आस्मां का अंतर है इसी कड़ी में कनिष्क ने आईएएस बनने की ठानी।
दिलचस्प बात यह है की कनिष्क 2010 में एससी कोटे से IIT में टॉप भी कर चुके है। कनिष्क के पिता सांवरमल वर्मा भी आईएएस अफसर के तौर पर राजस्थान में सामाजिक न्याय में बतौर डायरेक्टर तैनात है वही इनके चच्चा भी जयपुर में बतौर डिविशनल कमिश्नर अफसर के तौर पर तैनात है।
हालांकि सोशल मीडिया पर लोग कनिष्क के आरक्षण लेने पर खिचाई भी कर रहे है, एक फेसबुक यूजर लिखते हैं ” आईएस अफसर चाचा आईपीएस IIT में आरक्षण लेकर एडमिशन फिर भी पेट नहीं भरा तो यूपीएससी में भी आरक्षण ले लिया। ”
आगे कनिष्क ने बताया की वह सिर्फ 8 से 9 घंटे ही पढ़ाई करते थे पर जैसे जैसे मैन्स नजदीक आया उन्होंने 15 घंटे पढ़ाई शुरू कर दी थी ।
बीबीसी को दिए अपने इंटरव्यू में कनिष्ठ ने बताया की कैसे उन्होंने कोचिंग सिर्फ यूपीएससी के पैटर्न का अंदाजा लगाने के लिए दिया था उसके बाद उनका पूरा फोकस सेल्फ स्टडीज पर ही था।
कनिष्क ने आगे बताया की इंटरव्यू के बाद उन्हें नहीं पता था की वह टॉप करेंगे पर इतना जरूर पता था की आईएएस के लिए उनके सिलेक्शन हो जायेगा और जब 7 बजे रिजल्ट आया तो उनकी ख़ुशी का ठिकाना नहीं रहा।