UP: मेडिकल कॉलेजों में आरक्षण नहीं, सुप्रीम कोर्ट का बड़ा आदेश

लखनऊ (UP) : सुप्रीम कोर्ट नें आदेश में कहा कि बिना आरक्षण प्रोफेसरों की हो भर्ती ।
सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को यूपी के मेडिकल कॉलेजों में बगैर आरक्षण के भी प्रोफेसरों की भर्ती का फैसला दिया । कोर्ट ने 2015 में सीधी भर्ती के लिए मंगाई गई आवेदन प्रक्रिया को सही करार देते हुए कहा कि जल्दी भर्ती प्रक्रिया को पूरा किया जाए ।
यह फैसला जस्टिस एल नागेश्वर राव एवं जस्टिस हेमंत गुप्ता की पीठ ने अधिकतम उम्र सीमा 65 वर्ष यह देखते हुए सही करार दिया कि 12 वर्ष पहले तक कोई योग्य व्यक्ति चयन प्रक्रिया में शामिल होने नहीं आया । इससे सीधा सरल अनुमान लगाया जा सकता है कि उत्तर प्रदेश में मेडिकल कॉलेजों की क्या स्थिति है ?
दिसंबर 2015 में यूपी में उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग ने 47 पदों पर आरक्षण के बिना यह विज्ञापन दिया था । साथ ही अधिकतम उम्र सीमा अभ्यर्थियों के लिए 45 से बढ़ाकर 65 कर दी थी ।
पीठ ने कहा कि नियमानुसार आरक्षण की व्यवस्था उस स्थिति पर लागू होती है जब विभाग में 4 से अधिक पद हों । चूंकि भर्ती के लिए विभागबार आवेदन मांगे गए थे सभी विभागों में कम से कम 5 पदों के आवेदन मांगे थे इसलिए इस नियुक्ति के विज्ञापन में कोई त्रुटि नहीं है ।