आरक्षण को संसद 10-10 साल तक बढ़ाती रही, इससे समाज बँटा है: सुमित्रा महाजन

राँची (झारखण्ड) : सुमित्रा महाजन बोलींं आरक्षण नें समाज को कितना बाँटा, पर संंसद इसकी अवधि बढ़ाती रही, क्या हमनेंं सोचा ?

सुमित्रा महाजन नें आरक्षण की व्यवस्था पर सरकारों की जमकर आलोचना की है। और इसके सामायिक विस्तार को लेकर भी तीखे सवाल पूछे।

Sumitra Mahajan

सुमित्रा महाजन नें आरक्षण की व्यवस्था पर ये सवाल 30 सितंबर को झारखंड के राँची में एक कार्यक्रम के दौरान उठाया।

राँची में अपने संबोधन में सुमित्रा महाजन नें कहा “अम्बेडकर जी ने स्वयं कहा था कि आरक्षण केवल 10 वर्षों के लिए आवश्यक है। उन्होंने 10 वर्षों के भीतर समान विकास की कल्पना की थी। लेकिन ऐसा नहीं हुआ। यहां तक ​​कि संसद में मौजूद लोग 10-10 साल तक आरक्षण बढ़ाते रहे।”

Indian Parliament

इसके बाद उन्होंने आज के आरक्षण को समाज में बंटवारे का कारण भी बताया, साथ ही इसके लाभ पाने वाले लोगों की जिम्मेदारी पर भी सवाल किए।

Reservation

उन्होंने पूछा “मुझे आरक्षण मिला तो मैं जीवन में कुछ बन गया, तो मैंने जीवन में कितने क्षण ऐसे बिताए सोचने में कि मैंने मेरे समाज को बाँटा कितना है ? क्या आरक्षण की यही कल्पना है ?”