मिलिट्री ब्यूरो : आर्मी के महिला जांबाजों नें ट्रेन में इमरजेंसी में जाकर डिलेवरी कराई जिसकी हर कोई तारीफ़ कर रहा है।
सैनिक धर्म बताता है कि ज़बानों के लिए दिन रात नहीं होते, होते हैं उनके लिए तो सिर्फ़ फ़र्ज़।हरियाणवी में सैनिकों के लिए कुछ एक लाइनें हैं :
“जो पूरी रात जागते हो, यो जरूरी कोणी के वो आशिक हो, कुछ देश प मिटन आले फौजी भी होया करै।”
इन लाइनों को हम जोड़ रहे हैं इंडियन आर्मी की दो महिला जांबाजों से।
ये जांबाज़ कैप्टन ललिता और कैप्टन अमनदीप हैं, ये इंडियन आर्मी 172 मिलिट्री हॉस्पिटल से हैं।, इन्होंने इमरजेंसी में ऐसा काम किया है जिसे देश सराह रहा है।
Sheros ????? https://t.co/PnCENhT8wL
— Dr Kumar Vishvas (@DrKumarVishwas) December 28, 2019
वैसे तो हम अक्सर कहते हैं सैनिक सीमाओं पर हमारी रक्षा करते हैं। लेकिन एक वक़्त इमरजेंसी का आता है जब हमारे आसपास कोई होता है वो सैनिक ही होता है।
Compliments to the two young lady doctors. Way to go; displaying best credentials of the medical and the military professions. https://t.co/WupZnv27jN
— Syed Ata Hasnain (@atahasnain53) December 28, 2019
ऐसा ही वाकया भारतीय रेल में घटा जब हावड़ा एक्सप्रेस में यात्रा के दौरान एक महिला यात्री की समय से पहले (प्रीमैच्योर) डिलीवरी होने की स्थिति आ गई।
ये सूचना रेल सुरक्षा कर्मियों तक पहुंची। फ़िर आर्मी हॉस्पिटल की दो कैप्टन ललिता, व अमनदीप नें प्रीमैच्योर डिलेवरी को सुरक्षित कराया।
अब ताज़ा जानकारी यही है कि वो माँ और बच्चा दोनों ही स्वस्थ व सुखद स्थिति में हैं।
Captain Lalitha & Captain Amandeep, #IndianArmy 172 Military Hospital, facilitated in premature delivery of a passenger while traveling on Howrah Express.
Both mother & baby are hale & hearty.#NationFirst#WeCare pic.twitter.com/AFQGybwJJ6— ADG PI – INDIAN ARMY (@adgpi) December 28, 2019
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